2 या 3 फरवरी में से बसंत पंचमी इस द‍िन मनाई जाएगी, यहां जानिए सरस्वती पूजा का शुभ मुहूर्त, महत्व और क्‍या लगाएं भोग

Update: 2025-02-01 03:06 GMT

बसंत पंचमी देवी सरस्वती की पूजा अर्चना के लिए समर्पित है. यह पर्व हर साल माघ माह के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को मनाया जाता है. मान्यता है इस दिन देवी सरस्वती    की विधि-विधान से पूजा करने से बुद्धि ज्ञान के साथ ही सौभाग्य, तरक्की व धन धान्य की प्राप्ति होती है. लेकिन इस साल सरस्वती पूजा यानी बसंत पंचमी 2 फरवरी है या 3, इसको लेकर लोग बहुत कंफ्यूज हैं. ऐसे में आज हम आपको यहां पर बसंत पंचमी  की सही तारीख, सरस्वती पूजा का शुभ मुहूर्त, महत्व और भोग बताने जा रहे हैं...

कब है बसंत पंचमी 2025 - 

हिंदू पंचांग के अनुसार, इस साल माघ माह के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि की शुरूआत 2 फरवरी को सुबह 9 बजकर 14 मिनट पर होगा. वहीं, इसका समापन 3 फरवरी को सुबह 6 बजकर 52 पर होगा. उदयातिथि पड़ने के कारण बसंत पंचमी 2 फरवरी को मनाई जाएगी. 

बसंत पंचमी पर मां सरस्वती पूजा का मुहूर्त -  

02 फरवरी को सुबह 7:09 मिनट से लेकर दोपहर 12:35 मिनट तक रहेगा. इस दिन पूजा के लिए सिर्फ 5 घंटे 26 मिनट का समय मिलेगा.

बसंत पंचमी महत्व -  

बसंत पंचमी छात्रों और शिक्षार्थियों के लिए विशेष रूप से महत्वपूर्ण है. इस दिन, स्कूल और कॉलेज में देवी सरस्वती का आशीर्वाद पाने के लिए विशेष पूजा का आयोजन किया जाता है. कई ज्योतिषी बसंत पंचमी को अबूझ दिवस के रूप में मानते हैं. यह विश्वास सरस्वती पूजा के महत्व को बढ़ाता है, जिससे पूरा दिन पूजा और अच्छे कामों के लिए शुभ हो जाता है.

बसंत पंचमी पर मां सरस्वती को लगाएं ये भोग -  

बेसन लड्डू, केसर रबड़ी, पीले चावल, बूंदी या बूंदी के लड्डू भोग में लगा सकते हैं. ये सारी चीजें देवी सरस्वती को बहुत प्रिय है. 

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